Mainbhibharat

एक छोटी सी मदद से पूरे हो रहे हैं आदिवासी एथलीट के सपने

तेलंगाना के दुम्मुगुडेम मंडल के लिंगापुरम गाँव के एक प्रतिभाशाली आदिवासी एथलीट काका जोगा राव अपने सपने पूरे करने की दिशा में चल पड़े हैं. कुछ दिन पहले तक ग़रीबी की वजह से वो अपने जीवन का सबसे बड़ा मौक़ा गंवाने की कगार पर थे. लेकिन पुलिस अधीक्षक सुनील दत्त से उन्हें आखिरी मौक़े पर मदद मिली, और अब जोगा राव मणिपुर में राष्ट्रीय खेल विश्वविद्यालय (एनएसयू) में एडमिसन फ़ीस दे पाए हैं.

19 साल के जोगा राव ने हाल ही में आयोजित प्रवेश परीक्षा, शारीरिक फिटनेस परीक्षा और इंटरव्यू में पास होने के बाद मेरिट पर एनएसयू में स्पोर्ट्स कोचिंग में चार साल के ग्रैजुएट कोर्स में सीट हासिल की थी. लेकिन उनके पिता, जो एक छोटे किसान हैं, की ख़राब आर्थिक स्थिति जोगा राव और उसके सपनों के बीच एक दीवार बनकर खड़ी थी.

जोगा राव की प्रतिभा को पहचानकर उनके क़रीबी दोस्त, कई आदिवासी संगठनों के सदस्य और दुम्मुगुडेम सर्कल इंस्पेक्टर एन वेंकटेश्वरलू ने इस प्रतिष्ठित संस्थान में दाखिला लेने में उनकी मदद करने की ठानी. आदिवासी संगठनों ने भी उनकी पढ़ाई के लिए कुछ फ़ंड उन्हें दिए.

एजेंसी इलाक़ों में आयोजित कई खेल प्रतियोगिताओं में सर्वोच्च प्रदर्शन करने वाले जोगा राव की खेल प्रतिभा के बारे में जानने वाले सुनील दत्त ने वित्तीय सहायता दी. एसपी दत्त ने इस आदिवासी युवा को एनएसयू में चार साल के ग्रौजुएट कोर्स को पूरा करने के लिए भविष्य में ज़रूरी मदद भी देने का आश्वासन दिया है.

जोगा राव एथलेटिक्स में उत्कृष्टता हासिल करना चाहते हैं, और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक प्रसिद्ध कोच बनने का सपना देखते हैं. 2018 में दिल्ली में आयोजित राष्ट्रीय युवा एथलेटिक्स चैंपियनशिप में भाग लेने वाले जोगा राव कहते हैं, “मैं पूरी लगन से पढ़ाई करूंगा और अपने माता-पिता और खेल प्रेमियों सहित अपने सभी शुभचिंतकों की उम्मीदों पर खरा उतरूंगा.”

(तस्वीर प्रतीकात्मक है)

Exit mobile version