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साल 2024 की शुरुआत में आदिवासी एकता महारैली का होगा आयोजन

आदिवासियों के संवैधानिक हक-अधिकारों के लिए रांची में 4 फरवरी को आदिवासी एकता महारैली (Adivasi Ekta Maha Rally) होगी. इसकी तैयारी के लिए कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री बंधु तिर्की (Bandhu Tirkey) ने आदिवासी संगठनों के प्रतिनिधियों के साथ गुरुवार को बैठक की.

बुधवार को एक प्रेस कांफ्रेंस में कांग्रेस नेता बंधु तिर्की ने यह घोषणा की है कि 4 फरवरी 2024 को आदिवासी एकता महारैली आयोजित की जाएगी.

उन्होंने कहा कि इसका एकमात्र उद्देश्य आदिवासियों के ज्वलंत मुद्दों को देश की राजनीति के प्रमुख एजेंडे में लाना है.

उन्होंने बताया कि तीन-चार महीने बाद लोकसभा चुनाव है और उसके बाद झारखंड में विधानसभा चुनाव भी है. इसको देखते हुए भाजपा एवं आरएसएस जैसे संगठनों ने विभिन्न माध्यमों से आदिवासियों को बांटने की कोशिश शुरू कर दी है.
डीलिस्टिंग भी एक ऐसी ही कार्रवाई है.

बंधु ने कहा कि मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में आदिवासियों के बीच फूट डालकर अपने स्वार्थ के लिए उन्हें लड़वाने के साथ विधानसभा चुनाव में अपनी सफलता से भाजपा बहुत अधिक उत्साहित है. वे अपने इस प्रयोग को झारखंड में दोहराना चाहते हैं. लेकिन यहां के आदिवासी समझदार हैं. वह भाजपा और संघ परिवार की नीतियों को सफल नहीं होने देंगे.

बंधु तिर्की ने यह भी कहा है कि पूरे प्रदेश में आदिवासियों की जमीन लूटी जा रही है. इस पर कहीं न कहीं भाजपा समर्थित संगठनों ने मौन धारण किया हुआ है.

उन्होंने महारैली की घोषणा करने के साथ ही डीलिस्टिंग की मांग करने के मुद्दे के बारे में बात की.

उन्होंने कहा कि डीलिस्टिंग की मांग करनेवालों को यह बताना चाहिए कि राजधानी रांची के कई इलाकों में डेमोग्राफी क्यों बदल रही है. इस बारे में डीलिस्टिंग से जुड़ी रैलियों में कोई चर्चा क्यों नहीं हो रही है.

उन्होंने कहा कि ऐसा दावा किया जा रहा है कि डीलिस्टिंग की मांग करनेवालों में ज्यादातर वो लोग शामिल है जिनकी विचारधारा जमीन लूटनेवालों से मिलती-जुलती है.

राहुल गांधी की न्याय यात्रा

इसके अलावा कांग्रेस के द्वारा इस रैली के आयोजन पहले राहुल गांधी भारत न्याय यात्रा (Bharat Nyay Yatra) करेंगे. उनकी यह यात्रा महारैली से पहले यानी जनवरी में आयोजित की जाएगी.

यह यात्रा 14 जनवरी को शुरु होगी जो 20 मार्च तक चलेगी. भारत न्याय यात्रा में राहुल गांधी 14 राज्यों का दौरा करेंगे.

वैसे भारत न्याय यात्रा, भारत जोड़ो यात्रा का ही हिस्सा है जिसमें राहुल गांधी पूर्व से पश्चिम के राज्य की यात्रा करेंगे.

यह यात्रा मणिपुर से शुरू होगी और मुंबई में जाकर खत्म होगी. इस यात्रा में नागालैंड, असम, मेघालय, पश्चिम बंगाल, बिहार, झारखंड, ओडिशा, छत्तीसगढ़, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र आदि राज्य शामिल हैं.

एक इंटव्यू में जब कांग्रेस के द्वारा यात्रा की शुरुआत मणिपुर से शुरु करने की बात पूछी गई तो पार्टी के सदस्य वेणुगोपाल ने बताया कि यह देश के अभिन्न अंग के रूप में महत्व रखता है इसलिए हम यहां से यात्रा शुरू करेंगे.

इसके अलावा पार्टी का लक्ष्य पूर्वोत्तर राज्य में लोगों के “घावों को भरने” की प्रक्रिया शुरू करने का है.

हालांकि अब देखने वाली बात है कि काग्रेंस के द्वारा आदिवासी एकता महारैली आयोजित करने से आदिवासियों को कितना लाभ पहुचेंगा. क्या इस रैली में आदिवासियों के अहम मुद्दों को उठाया जाएगा.

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