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बैगा गांव में जब एक दम ताज़ा महुआ चखने का मौका मिला

बैगा आदिवासी समुदाय को विशेष रूप से पिछड़ी जनजाति के तौर पर पहचाना गया है. इस समुदाय की अपनी ख़ास जीवनशैली और संस्कृति की वजह से ये दुनिया भर में प्रसिद्ध हैं.

इस समुदाय की ख़ास बातों में से एक यह भी है कि इस समुदाय के नाच में पुरूष और महिलाओं की वेशभूषा यानि कपड़े और आभूषण एक जैसे ही होते हैं.

इस समुदाय में भी अन्य आदिवासी समुदायों की तरह ही देवी-देवताओं को चढ़ाने के लिए महुआ से मद (शराब) बनाई जाती है.

हाल ही में जब हमारी टीम मध्य प्रदेश के मंडला ज़िले गई तो वहां पर एक गांव में हमें बैगा आदिवासियों के साथ एक दम ताज़ा महुआ चखने का मौका मिला.

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