केरल सरकार ने आदिवासी इलाक़ों तक परिवहन सेवाओं की पहुंच को बढ़ाने के इरादे से ‘ग्राम वंडी’ बस सेवा शुरु की है. इसके लिए राज्य का परिवहन विभाग निजी बसों को लीज़ पर लेगा.
परिवहन मंत्री एंटनी राजू ने इसकी जानकारी शुक्रवार को विधानसभा में दी.
COVID-19 की वजह से आई वित्तीय बाधाओं ने राज्य के सैकड़ों निजी बस ऑपरेटरों को सेवाएं बंद करने पर मजबूर कर दिया था.
केरल राज्य सड़क परिवहन निगम (KSRTC) अब इन बसों को लीज़ पर लेगा, ताकि दुर्गम से दुर्गम इलाक़ों तक परिवहन सेवा को पहुंचाने के लिए पर्याप्त संख्या में वाहन उपलब्ध हों.
वार्षिक लीज़
ग्राम वंडी पहल को KSRTC की अगुवाई में, राज्य के ग्रामीण और आदिवासी इलाक़ों को जोड़ने के लिए डिज़ाइन किया गया है, क्योंकि इन इलाक़ों में कनेक्टिविटी बहुत कम है.
निजी बसों को वार्षिक लीज़ पर लेकर KSRTC बसों में मौजूद सभी रियायतों को इनमें भी लागू किया जाएगा. अंतर-ज़िला सेवाओं के बारे में परिवहन विभाग अभी विचार कर रहा है.
मंत्री एंटनी राजू ने विधानसभा को बताया कि जिन दुर्गम इलाक़ों में बड़ी बसे नहीं जा सकतीं, वहां 18 से 32 सीटों वाली बसों का इस्तेमाल किया जाएगा.
स्थानीय निकायों की भागीदारी
ग्राम वंडी सेवाओं को शुरू करने के लिए परिवहन विभाग स्थानीय स्वशासन विभाग के साथ सहयोग कर रहा है. बस सेवाओं को KSRTC द्वारा निर्धारित किराए पर चलाया जाएगा.
लेकिन इनका रूट तय करने की ज़िम्मेदारी स्थानीय निकायों की होगी. बसों के संचालन का समय भी स्थानीय निकायों द्वारा ही तय किया जाएगा.
इसके अलावा बसों को चलाने में आने वाला डीज़ल का खर्च भी स्थानीय निकायों को उठाना है. निजी संस्थाएं और संगठन इन सेवाओं को स्पॉन्सर कर सकते हैं.
मोबाइल राशन की दुकानें
मंत्री ने यह भी बताया कि KSRTC ने ‘राशन शॉप ऑन व्हील्स’ शुरू करने के लिए नागरिक आपूर्ति विभाग के साथ सहयोग करने का फैसला किया है.
इससे राशन की दुकानों को दूरदराज़ के इलाकों में आदिवासी बस्तियों तक पहुंचाया जा सकेगा. ऐसी 10 राशन की दुकानों को नागरिक आपूर्ति विभाग ने मंज़ूरी दे दी है.