13 मई को लोकसभा चुनाव 2024 (Lok Sabha election 2024) के चौथे चरण का मतदान होगा. चौथे चरण में कुल 96 सीटों पर वोटिंग होगी. इन्हीं 96 सीटों में मध्य प्रदेश की 8 सीटें भी शामिल हैं.
मध्य प्रदेश (Tribes of Madhya Pradesh) की 8 सीटों में से तीन सीटें – रतलाम, खरगोन और धार अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं. आज मुख्य तौर पर मध्य प्रदेश की धार सीट के बारे में बात करेंगे.
मंगलवार को मध्य प्रदेश की धार (Dhar lok Sabha Seat) और खरगोन लोकसभा क्षेत्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रैली निकाली थी. जिसके बाद से यहां का मौहाल और गर्म हो गया है.
धार सीट पर बीजेपी की उम्मीदवार सावित्री ठाकुर और कांग्रेस के उम्मीदवार राधेश्याम के बीच बराबरी का मुकाबला देखने को मिल रहा है. इसके अलावा बाप पार्टी के उम्मीदवार जितेंद्र मुनिया मतदान काटने का काम कर सकते हैं.
बीजेपी बनाम कांग्रेस
मध्य प्रदेश की धार सीट पिछले 10 सालों से बीजेपी ही जीतती आई है. बीजेपी ने इस बार सांसद छत्तर सिंह दरबार का टिकट काटकर सावित्री ठाकुर को अपना उम्मीदवार बनाया है.
वहीं कांग्रेस के प्रत्याशी राधेश्याम मुवले राजनीति में एक नया चेहरा है. राधेश्याम ने अब तक कोई बड़ा चुनाव नहीं लड़ा है.
ऐसा भी कहा जा रहा है कि राधेश्याम मुवेल की आदिवासी समाज में काफी अच्छी पकड़ है.
राधेश्याम ने एक इंटव्यू में कहा कि धार के आदिवासी रोज़गार की तलाश से मजबूर होकर पलायन कर रहे हैं. बीजेपी ने इन 10 सालों में आखिर किया क्या है?
इसके अलावा उन्होंने यह भी आरोप लगाए कि बीजेपी महंगाई, बेरोजगारी जैसी बुनियादी समस्याओं से निपटने में नकाम रही है.
वहीं बीजेपी की प्रत्याशी सावित्री ठाकुर ने धार सीट से तीन लाख से ज्यादा मत हासिल करने का दावा किया है.
सावित्री ने कहा कि धार में 10 लाख महिलाएं है और बीजेपी सरकार ने महिलाओं के लिए काफी काम किया है.
इसके अलावा उन्होंने कहा कि कांग्रेस 70 सालों से सत्ता में रहने के बावजूद भी आदिवासियों के लिए कुछ नहीं किया है.
धार लोकसभा क्षेत्र में आदिवासी मतदाताओं में सबसे ज्यादा भिलाला और भील आदिवासी है. इसलिए कांग्रेस और बीजेपी ने भी अपने उम्मीदवार भील समुदाय से चुना है.
इसके अलावा भारत आदिवासी पार्टी (बाप) की भील समुदाय में अच्छी पकड़ रही है. क्योंकि यह पार्टी हमेशा भील समुदाय के अधिकारों के लिए लड़ती आई है.
विधानसभा चुनाव के नतीज़े क्या बताते है
धार लोकसभा सीट के अंतर्गत विधानसभा की आठ सीटे आती हैं. इन आठ सीटों में वर्तमान में पांच सीटों पर कांग्रेस का कब्जा है. इसके अलावा तीन सीटों को बीजेपी ने हासिल किया है.
वहीं 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने डेढ़ लाख वोटों के अंतर से यह सीट जीती है. उस समय बीजेपी का उम्मीदवार छत्तर सिंह दरबार था.