झारखंड में पेसा 1996 की नियमावली के मसौदे पर ज़बरदस्त बहस हो रही है. इस बहस में एक नया पहलू जोड़ते हुए रजनी मुर्मू ने एक नया विवाद पैदा कर दिया है. उन्होंने पेसा की बहस का नेतृत्व कर रहे लोगों में से एक ग्लैडसन डुंगडुंग पर सीधा हमला किया है.
रजनी मुर्मू ने कहा है कि ग्लैडसन डुंगडुंग खुद ईसाई बन चुके हैं और आदिवासी मान्यताओं को छोड़ चुके हैं. इसके साथ ही रजनी मुर्मू ने कहा है कि ग्लैडसन डुंगडुंग सोशल मीडिया के ज़रिए आदिवासी महिलाओं के ख़िलाफ़ अभियान चलाते हैं.
इस सिलसिले में उन्होंने ग्लैडसन डुंगडुंग पर आरोप लगाया कि उन्होंने स्नेहलता कंडुलना के खिलाफ़ अभियान चला कर झारखंड विधान सभा चुनाव में उनका टिकट कटवा दिया.
रजनी मुर्मू असिस्टेंट एक जानी-मानी बुद्धिजीवी हैं जो आदिवासी समाज में महिलाओं की स्थिति पर लिखती और बोलती रही हैं. उधर ग्लैडसन डुंगडुंग भी आदिवासी अधिकार कार्यकर्ता और लेखक के तौर पर जाने जाते हैं. रजनी के आरोपों और पेसा नियमावली पर हमने ग्लैडसन डुंगडुंग से भी बातचीत की है. यह बातचीत आप नीचे देख सकते हैं.