HomeAdivasi Dailyजंगली भालू के हमले के बाद आदिवासी महिला की हालत गंभीर

जंगली भालू के हमले के बाद आदिवासी महिला की हालत गंभीर

पीड़ित औरत, मौसंती रियांग, कंद और सब्जियां लेने के लिए जंगल में गई थी, लेकिन काफी देर बाद भी वापस नहीं लौटी. एक युवक ने बाद में उसे देखा और उसे इलाके के एक अस्पताल में भर्ती कराया.

त्रिपुरा के दक्षिण जिले के लक्ष्मीछेरा इलाके में एक जंगली भालू ने 45 साल की एक महिला पर हमला कर दिया, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गई.

पीड़ित औरत, मौसंती रियांग, कंद और सब्जियां लेने के लिए जंगल में गई थी, लेकिन काफी देर बाद भी वापस नहीं लौटी. एक युवक ने बाद में उसे देखा और उसे इलाके के एक अस्पताल में भर्ती कराया.

इसके बाद पुलिस ने महिला की पहचान मौसंती रियांग के रूप में की.

न्यूज एजेंसी एएनआई को, पीड़िता के पड़ोस की रहने वाली स्वप्ना रियांग ने बताया, “वह रोज़ की तरह जंगल सब्जियां लेने गई थी. लेकिन जब वह समय पर वापस नहीं आई, तो बस्ती का एक युवक उसे ढूंढने के लिए जंगल में गया. वहां उसने मौसंती को अधमरी हालत में पाया. वह खून से लथपथ थी, और काफी खून बह रहा था. स्थानीय लोगों ने समझ लिया कि एक जंगली जानवर ने उस पर हमला किया था और भालू ने उसकी दोनों आंखें फोड़ दी थीं. उसके चेहरे और शरीर के दूसरे हिस्सों पर काफी चोटें हैं.”

बस्ती के लोगों ने बिना समय गंवाए मौसंती को दक्षिण त्रिपुरा जिला अस्पताल में शिफ्ट कर दिया, लेकिन डॉक्टरों ने उनकी बिगड़ती स्वास्थ्य स्थिति को देखते हुए उन्हें जीबीपी अस्पताल रेफर कर दिया.

इस बीच, एक फॉरेस्ट रेंज ऑफिसर के नेतृत्व में वन अधिकारियों की एक टीम ने मौके की तलाशी ली और इस नतीजे पर पहुंचे कि यह किसी जंगली भालू का हमला हो सकता है.

एसडीएफओ बोकाफा बाबुल मोग ने कहा कि उन्होंने घटना स्थल पर वन कर्मियों की एक टीम भेजी थी, और वहां पाए गए सबूत बताते हैं कि मौसंती पर हमला किसी भालू ने ही किया है.

ग्रामीणों में से किसी ने भी हमला करने वाले जानवर को नहीं देखा. लेकिन इलाके के ग्रामीण कहते हैं ​​कि जंगली भालू अक्सर पानी और भोजन की तलाश में गहरे जंगलों से बाहर आते हैं, और आसपास की बस्तियों में या जंगलों के बाहरी इलाकों में पहुंच जाते हैं, जहां वो इंसानों से टकरा जाते हैं.

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