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MSEDCL ने 12 दिनों में महाराष्ट्र के दो हज़ार से अधिक आदिवासी घरों में की बिजली आपूर्ति

गुरुवार को एमएसईडीसीएल यानी महाराष्ट्र राज्य विद्युत वितरण कंपनी लिमिटेड ने महाराष्ट्र के 2,395 आदिवासी घरों में बिजला प्रदान किया है.

महाराष्ट्र राज्य विद्युत वितरण कंपनी लिमिटेड (MSEDCL) ने गुरुवार को घोषणा की कि उसने सिर्फ 12 दिनों में महाराष्ट्र के दूरदराज के हिस्सों में आदिवासियों को बिजली की आपूर्ति की है.

अधिकारी ने बताया कि देश में आदिवासियों के समग्र विकास के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू की गई प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महा अभियान योजना (PM JANMAN) के अंतर्गत राज्य के कई दूरदराज के इलाकों में आदिवासी परिवारों के 2,395 घरों को बिजली की आपूर्ति की है.

उन्होंने कहा की एमएसईडीसीएल की पहल वास्तव में नए साल के पहले दिन तक कमजोर आदिवासी समूहों के घरों को रौशन करने में सफल रही है.

इसके अलावा उपमुख्यमंत्री और ऊर्जा मंत्री देवेंद्र फड़नवीस ने एमएसईडीसीएल को योजना के कार्यान्वयन को प्राथमिकता देने का निर्देश दिया था.

यह योजना राज्य में विभिन्न विभागों द्वारा 15 नवंबर 2023 को शुरू की गई थी.

एक सर्वेक्षण में पता लगा है कि महाराष्ट्र के कमजोर समूहों के 2,395 लाभार्थी हैं, जिनके पास बिजली की आपूर्ति नहीं थी उन लोगों को बिजली दी गई है.

एक अधिकारी ने कहा कि चंद्रपुर, नांदेड़, नासिक, पालघर, रायगढ़, सिंधुदुर्ग, यवतमाल और ठाणे ज़िलों के स्थित घरों में आजादी के 75 साल बाद भी बिजली नहीं थी.

एमएसईडीसीएल के प्रबंध निदेशक (Managing Director) लोकेश चंद्र (Lokesh Chandra) ने कहा कि योजना के हिसाब से उद्देश्य यह है कि आदिवासियों को पानी, आवास, बिजली, स्वास्थ्य सुविधाएं, कौशल विकास, गैस कनेक्शन आदि 11 प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में सेवाएं प्रदान करना है.

इसके अलावा महाराष्ट्र के कातकरी (Katkari), कोलम (Kolam), मदिया गोंड (Madia Gond) आदि आदिम जनजातियों की बस्तियों में कार्ययोजना तय कर 20 दिसंबर को बिजली आपूर्ति के लिए एमएसईडीसीएल को निर्देश दिया गया हैं.

योजना के अंतर्गत एमएसईडीसीएल ने सबसे पहले बिजली आपूर्ति नासिक ज़िले के सिन्नर तालुका के थानगांव के अशोक दगडू हिलाम के घर में किया था.

उन्होंने बताया कि दो दिन पहले घर में बिजली की आपूर्ति की गई थी जबकि उन्होंने इसके लिए आवेदन नहीं किया था.

सरकार ने कनेक्शन प्रदान किया और बाद में उनके इलाके में रहने वाले 15 और परिवारों को बिजली की आपूर्ति मिल गई.

अशोक दगडू हिलम ने नया कनेक्शन देने वाले एमएसईडीसीएल लाइनमैन से कहा कि मैंने कभी सपने में भी नहीं सोचा था कि घर में बिजली होगी.

गौर करने वाली बात यह है कि इस योजना से भले ही महाराष्ट्र के आदिवासी इलाकों में बिजली की आपूर्ति हुई है लेकिन देश में अभी भी ऐसे कई आदिवासी इलाके हैं जहां आदिवासियों के पास बिजली के साथ ही बुनियादी सुविधाएं भी उपलब्ध नहीं है. तो सरकार को ऐसे आदिवासी इलाकों में भी बुनियादी सुविधाएं जल्द से जल्द उपलब्ध करवाना चाहिए.

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