छत्तीसगढ़ में अगले महीने विधानसभा चुनाव होने वाले हैं इसी बीच एक बीजेपी कार्यकर्ता की गोली मारकर हत्या कर दी गई है. पुलिस अधिकारियों ने यह जानकारी दी.
दरअसल, राज्य के नक्सल प्रभावित मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी जिले के एक अंदरूनी गांव में शुक्रवार को अज्ञात हमलावरों ने एक भाजपा कार्यकर्ता की गोली मारकर हत्या कर दी.
जिले की पुलिस अधीक्षक (एसपी) रत्ना सिंह ने बताया कि जिले के औंधी पुलिस थाना क्षेत्र के अन्तर्गत सरखेड़ा गांव में आज शाम अज्ञात हमलावरों ने बिरजू तारम की गोली मारकर हत्या कर दी.
पुलिस अधिकारी ने बताया कि घटना शाम करीब साढ़े सात बजे हुई जब बिरजू तारम अपने घर के बाहर थे. उन्होंने बताया कि इसकी सूचना मिलने के तुरंत बाद पुलिस दल को मौके पर भेजा गया.
घटना में नक्सलियों की संभावित भूमिका के बारे में पूछे जाने पर एसपी रत्ना सिंह ने बताया की किसी भी नतीजे पर पहुंचना बहुत जल्दबाजी होगी. उन्होंने कहा की सभी संभावित पहलुओं पर जांच चल रही है और इसके बाद ही अंतिम निर्णय लिया जाएगा.
उन्होंने बताया कि प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार 60 वर्षीय तारम सैर पर निकले थे, तभी दो-तीन लोग वहां पहुंचे और उन पर गोलियां चला दीं, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई.
मोहला-मानपुर उन बीस निर्वाचन क्षेत्रों में से एक है, जहां 7 नवंबर को पहले चरण में मतदान होगा. वहीं इस मामले में कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने कहा, “मोहला-मानपुर के आदिवासी भाजपा नेता बिरजू तारम की हत्या कर एक बार फिर भाजपा कार्यकर्ताओं को डराने की कोशिश की जा रही है.
मैं शोक-संतप्त परिजनों के प्रति संवेदनाएं व्यक्त करते हुए यह वादा करता हूं कि इस कुशासन के विरुद्ध हम डरने या रुकने वाले नहीं हैं. इस अत्याचारी सरकार से लहू के एक-एक कतरे का पूरा हिसाब किया जाएगा.”
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव ने इस घटना को ”लक्षित” हत्या का करार दिया और कहा कि उनकी पार्टी के कार्यकर्ता इससे डरेंगे नहीं और अगले महीने होने वाले चुनाव में कांग्रेस को सत्ता से बाहर कर देंगे.
साव ने बयान में कहा “पार्टी का एक और कार्यकर्ता शहीद हो गया. भाजपा कार्यकर्ता बिरजू तारम की हत्या एक और भाजपा कार्यकर्ता की लक्षित हत्या है. भाजपा कार्यकर्ता इस तरह के कृत्य से डरेंगे नहीं और शहादत को व्यर्थ नहीं जाने देंगे.”
उन्होंने कहा कि भाजपा कार्यकर्ता चुनाव में कांग्रेस को सत्ता से बाहर कर देंगे और राज्य में शांति और कानून व्यवस्था स्थापित करेंगे.
इससे पहले जून के महीने में बीजापुर ज़िले में संदिग्ध नक्सलियों ने एक स्थानीय भाजपा नेता की हत्या कर दी थी, जबकि फरवरी में बस्तर संभाग में अलग-अलग स्थानों पर इसी तरह की घटनाओं में तीन भाजपा नेताओं की हत्या कर दी गई थी.
भाजपा ने तब हत्याओं को ‘लक्षित’ हत्या करार दिया था और इसकी उच्च स्तरीय जांच की मांग की थी.