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झारखंड : आदिवासी महिला रेप केस के आरोपी की मौत, पुलिस पर उठ रहे सवाल

पुलिस ने यह तो बताया कि वह हिरासत से भाग गया था और नदी में उसकी लाश मिली. लेकिन अब तक उसकी पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की गई है.


झारखंड के रामगढ़ ज़िले में एक आदिवासी महिला से दुष्कर्म के आरोपी, युवक आफताब अंसारी की मौत के बाद बवाल मच गया है.
आफताब को 23 जुलाई को कुछ लोगों ने पकड़कर पुलिस को सौंपा था. उस पर आरोप था कि उसने एक आदिवासी महिला के साथ दुष्कर्म किया.
लेकिन इस घटना ने एक नया मोड़ तब ले लिया, जब पुलिस हिरासत में रहने के दौरान वह भाग निकला और अगली सुबह उसकी लाश नदी किनारे मिली.
पुलिस का कहना है कि वह 24 जुलाई को थाने से भाग गया था. कुछ ही घंटे बाद उसका शव दामोदर नदी के पास मिला. इसके बाद से पूरे इलाके में आक्रोश है .
लोगों का आरोप है कि पुलिस की लापरवाही के कारण उसकी मौत हुई. कुछ लोग ये भी कह रहे हैं कि आफताब की मौत संदेहास्पद है और इसमें कुछ बड़ा छिपाया जा रहा है.
आफताब अंसारी की लाश दामोदर नदी के पास मिलने के बाद सबसे अहम सवाल यह उठता है कि उसकी मौत कैसे हुई.
पुलिस ने यह तो बताया कि वह हिरासत से भाग गया था और नदी में उसकी लाश मिली. लेकिन अब तक उसकी पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की गई है.
जबकि इस रिपोर्ट से यह साफ हो सकता है कि उसकी मौत डूबने से हुई या शरीर पर चोट के निशान थे.
रिपोर्ट के देर से आने या छुपाए जाने को लेकर लोग सवाल उठा रहे हैं.
कई सामाजिक संगठनों और नेताओं ने कहा है कि जब तक मेडिकल रिपोर्ट सामने नहीं आती, तब तक यह कहना मुश्किल है कि आफताब की मौत प्राकृतिक थी, या इसके पीछे कोई गहरी साज़िश है.
पोस्टमार्टम रिपोर्ट न आने से पुलिस पर शक और भी बढ़ गया है.
इस घटना के बाद थानेदार प्रमोद कुमार सिंह सहित चार पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया गया है.
अधिकारियों का कहना है कि जांच की जा रही है, लेकिन लोगों को भरोसा नहीं है.
राज्य की विपक्षी पार्टियों ने सरकार से न्यायिक जांच की मांग की है.
उनका कहना है कि यह केवल पुलिस की गलती नहीं हो सकती, बल्कि इसके पीछे कोई गहरी साजिश भी हो सकती है.
सोशल मीडिया पर भी इस मामले को लेकर बहस तेज है. कुछ लोग आरोपी के पक्ष में बोल रहे हैं, तो कुछ पीड़िता के लिए न्याय की मांग कर रहे हैं.
पुलिस ने एक व्यक्ति को आपत्तिजनक पोस्ट करने के मामले में गिरफ्तार भी किया है.
यह घटना झारखंड की कानून-व्यवस्था पर सवाल खड़े कर रही है. पुलिस की हिरासत में कोई कैसे फरार हो सकता है और फिर उसकी मौत हो जाए, यह समझ से बाहर है.
लोगों की मांग है कि इस मामले में सच्चाई सामने लाई जाए और अगर कोई दोषी है, तो उस पर कड़ी कार्रवाई की जाए.

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